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Saturday, April 29, 2023

Punjab-Haryana High Court: ट्रिपलिंग मोटर वाहन कानून का उल्लंघन, बाइक लापरवाही से चलाने का प्रमाण नहीं - अमर उजाला

Punjab-Haryana High Court: Tripling is Violation of motor vehicle law, no proof of negligent driving

पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट

विस्तार

पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने अहम फैसला सुनाते हुए यह स्पष्ट कर दिया कि मोटरसाइकिल पर तीन लोग सवार थे, केवल इस कारण चालक को दुर्घटना में हुई लापरवाही का हिस्सेदार मान मुआवजे में कटौती नहीं की जा सकती। कोर्ट ने कहा कि यह मोटर वाहन अधिनियम का उल्लंघन तो है लेकिन वाहन लापरवाही से चलाया जा रहा था इसे साबित नहीं करता।

पानीपत निवासी नदीम, मारूफ व फातिमा ने याचिका दाखिल करते हुए वाहन हादसे में आई गंभीर चोटों के मुआवजे को नाकाफी बताते हुए इसे बढ़ाने की अपील की थी। याचिकाकर्ताओं ने बताया कि वह मोटरसाइकिल पर अपने गांव से पानीपत की ओर आ रहे थे।

इसी बीच बोलेरो चालक परवनी ने लापरवाही से मार्ग की विपरीत दिशा में वाहन चलाते हुए सड़क उन्हें टक्कर मार दी। इस टक्कर में तीनों याचिकाकर्ताओं को गंभीर चोट लगी और मुआवजे के लिए उन्होंने मोटर एक्सीडेंट क्लेम ट्रिब्यूनल में गुहार लगाई। ट्रिब्यूनल ने कहा कि याचिकाकर्ताओं के पास दुपहिया वाहन था जो केवल दो सवारियों के लिए वैध है और ऐसे में इस हादसे में वह भी लापरवाह रहे।

ट्रिब्यूनल ने इस दुर्घटना के लिए बोलेरो चालक को 70 प्रतिशत तो वहीं याचिकाकर्ताओं को 30 प्रतिशत जिम्मेदार माना। ऐसे में मुआवजे की तय राशि में से 30 प्रतिशत की कटौती करते हुए इसे याचिकाकर्ताओं को भुगतान करने का आदेश दिया।


हाईकोर्ट ने ट्रिब्यूनल के फैसले को गलत करार देते हुए कहा कि बाइक पर तीन लोगों का सवार होना मोटर वाहन एक्ट के प्रावधान का उल्लंघन है लेकिन यह चालक को लापरवाही से वाहन चलाने का दोषी करार देने के लिए काफी नहीं है। लापरवाही से चालन का दोषी साबित करने के लिए यह साबित करना जरूरी है कि चालक का वाहन पर नियंत्रण नहीं था। ऐसे में हाईकोर्ट ने मुआवजे में की गई 30 प्रतिशत कटौती को रद्द करने का आदेश दिया है।

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Punjab-Haryana High Court: ट्रिपलिंग मोटर वाहन कानून का उल्लंघन, बाइक लापरवाही से चलाने का प्रमाण नहीं - अमर उजाला
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Friday, April 28, 2023

केंद्र सरकार ने मोटर वाहन क्षेत्र के लिए उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत मानक संचालन प्रक्रिया ज - ChiniMandi News

भारी उद्योग मंत्रालय ने आज नई दिल्ली में परीक्षण एजेंसियों को मोटर वाहन क्षेत्र के प्रोत्साहन के लिए उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) जारी करने की घोषणा की। इसके साथ ही योजना के अंतर्गत आवेदक अब उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी-एएटी उत्पादों (मूल उपकरण निर्माता-ओईएम और घटक दोनों) के परीक्षण और प्रमाणन के लिए अपने आवेदन जमा कर सकते हैं, जो उन्हें प्रोत्साहन से संबद्ध मोटर वाहन योजना के अंतर्गत प्रोत्साहन के लिए योग्यता प्राप्त करने में मदद करेगा।

केंद्रीय भारी उद्योग मंत्री डॉ. महेंद्र नाथ पांडेय ने कहा कि इस कदम के साथ, भारी उद्योग मंत्रालय स्वयं को प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की आत्मनिर्भर भारत की परिकल्पना के साथ आगे बढ़ाने की कोशिश कर रहा है, और ये मानक संचालन प्रक्रिया न केवल इस परिकल्पना को प्राप्त करने में मदद करेंगे बल्कि इससे विनिर्माण क्षेत्र में अपनी उपस्थिति मज़बूत करने में भी मदद करेंगे। डॉ. पाण्डेय ने कहा कि इसके साथ, मंत्रालय का लक्ष्य घरेलू विनिर्माण क्षेत्र को बढ़ावा देना और आयात पर निर्भरता कम करना है, जिससे भारतीयों के लिए अधिक रोजगार के अवसर पैदा हो सकें। उन्होंने कहा कि सरकार देश में कौशल विकास और उद्यमिता को प्रोत्साहन देने के लिए प्रतिबद्ध है और यह पहल उस लक्ष्य को हासिल करने में मदद करेगी। उन्होंने यह भी कहा कि यह देश के समग्र आर्थिक विकास में योगदान देगा। डॉ. पाण्डेय ने कहा कि इस योजना से महत्वपूर्ण निवेश आकर्षित करने और भारत को मोटर वाहन विनिर्माण के लिए एक वैश्विक केंद्र बनने में मदद मिलने की आशा है।

भारी उद्योग मंत्रालय (एमएचआई) ने 23 सितंबर, 2021 को भारत में मोटर वाहन क्षेत्र और मोटर वाहन उपकरण उद्योग के लिए उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना (पीएलआई-ऑटो योजना या योजना) को 25,938 करोड़ रुपये के बजटीय परिव्यय के साथ अधिसूचित किया। उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन -मोटर वाहन योजना उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी (एएटी) उत्पादों के घरेलू विनिर्माण को प्रोत्साहन देने और मोटर वाहन विनिर्माण मूल्य श्रृंखला में निवेश आकर्षित करने के लिए वित्तीय प्रोत्साहन का प्रस्ताव करती है। इस योजना के दो भाग हैं: चैंपियन मूल उपकरण निर्माता, जो बिजली या हाइड्रोजन से चलने वाले वाहन बनाएंगे, और कंपोनेंट चैंपियंस, जो उच्च-मूल्य और उच्च-तकनीकी घटक बनाएंगे।

उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना के उद्देश्य:

मोटर वाहन और मोटर वाहन उपकरण के लिए उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना का मुख्य उद्देश्य उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी उत्पादों के घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने और मोटर वाहन विनिर्माण मूल्य श्रंखला में निवेश आकर्षित करने के लिए वित्तीय प्रोत्साहन प्रदान करना है।

इसके मुख्य उद्देश्यों में लागत संबंधी अक्षमताओं पर नियंत्रण प्राप्त करना, बड़े पैमाने की अर्थव्यवस्थाओं का निर्माण करना और उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी उत्पादों के क्षेत्रों में एक मजबूत आपूर्ति श्रृंखला का निर्माण करना शामिल है।

इस योजना का उद्देश्य देश में रोजगार के अवसर पैदा करना भी है।

इसका उद्देश्य मोटर वाहन उद्योग की मूल्य श्रृंखला को उच्च-मूल्य-वर्धित उत्पादों में स्थानांतरित करने की सुविधा प्रदान करना है।

भारी उद्योग मंत्रालय ने 9 नवंबर, 2021 को 19 उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी वाहनों और 103 उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी घटकों की श्रेणियों को अधिसूचित किया, जिन्हें इस योजना के अंतर्गत कवर किया जाएगा। ये घटक या तो उन्नत या नवीनतम-प्रौद्योगिकी मोटर वाहन घटक हैं, जिनके लिए आपूर्ति श्रृंखला भारत में मौजूद नहीं है, या दोनों के लिए है। इस प्रकार, इस योजना के साथ, भारत वैश्विक उन्नत प्रौद्योगिकी और मोटर वाहन आपूर्ति श्रृंखलाओं में अपनी हिस्सेदारी बढ़ाने में सक्षम होगा।

घरेलू मूल्यवर्धन (डीवीए):

योजना के दिशानिर्देशों के अनुसार, आवेदकों को योजना के अंतर्गत प्रोत्साहन का दावा करने के लिए 50 प्रतिशत का घरेलू मूल्यवर्धन (डीवीए) प्राप्त करना होगा। मोटर वाहन कंपनियों और घटक निर्माताओं को अपनी आपूर्ति श्रृंखला में घरेलू मूल्यवर्धन की गणना और प्रस्तुत करने और परीक्षण एजेंसियों को इन विवरणों को प्रस्तुत करने की आवश्यकता होती है। यह मेक इन इंडिया अभियान को बढ़ावा देने और उन्नत मोटर वाहन उत्पादों के घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने के लिए किया जा रहा है।

मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) बनाने के लिए समिति:

घरेलू मूल्यवर्धन (डीएवी) की गणना के लिए एक मानक संचालन प्रक्रिया बनाने के लिए पुणे के भारतीय मोटर वाहन अनुसंधान संघ के निदेशक की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया गया था, जिसमें सभी परीक्षण एजेंसियां, ऑटोमोटिव प्रौद्योगिकी के लिए अंतर्राष्ट्रीय केंद्र, मानेसर, राष्ट्रीय मोटर वाहन जांच मार्ग (एनएटीआरएएक्स), पुणे, वैश्विक मोटर वाहन अनुसंधान केंद्र (जीएआरसी) चेन्नई और वित्त सेवा निगम (आईएफ़सीआई) (उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन मोटर वाहन योजना के लिए प्रीमार्केट स्वीकृति (पीएमए) को जोड़ना शामिल हैं। इसके अनुसार, विभिन्न हितधारकों के बीच ज्ञान और विचारों के इस आदान-प्रदान के साथ, समिति ने हितधारकों से प्राप्त सभी सुझावों पर विचार-विमर्श करने के बाद मानक संचालन प्रक्रिया का मसौदा तैयार किया। उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के लिए सभी 85 आवेदकों के साथ परामर्श किया गया। इनमें 18 मूल उपकरण निर्माता और 67 ऑटो घटक विनिर्माण कंपनियां शामिल हैं। इन कंपनियों की सूची संलग्न है।

परामर्श की प्रक्रिया:

हितधारकों के परामर्श और निरंतर चर्चा के माध्यम से, उद्योग ने विभिन्न अभ्यावेदन और सुझाव साझा किए। इसके अलावा, मानक संचालन प्रक्रिया के मसौदे को आवेदक कंपनियों सहित हितधारकों के साथ उनके सुझाव और प्रतिकृया के लिए समय-समय पर साझा किया गया था। इसके अलावा, समिति ने चुनिंदा आधार पर कुछ ओईएम और घटक आवेदकों के साथ एक परीक्षण डीवीए गणना अभ्यास भी किया।

अन्य मंत्रालयों और विभागों द्वारा प्राप्त अनुभव को लागू करके उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजनाओं को लागू करने से क्रॉस-सेक्टरल सीख को अपनाया गया है। इनमें फार्मास्यूटिकल्स विभाग (डीओपी), नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (एमएनआरई), इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (एमईआईटीवाई), व्यय विभाग, फार्मास्यूटिकल्स विभाग, स्वास्थ्य मंत्रालय इस्पात और अन्य संबंधित मंत्रालय शामिल हैं।

विस्तृत हितधारक परामर्श के 3 दौर के बाद, समिति मानक संचालन प्रक्रिया का एक मसौदा लेकर आई है जिसमें एक डेस्क मूल्यांकन और आवेदकों और उनके आपूर्तिकर्ताओं की विनिर्माण सुविधाओं का क्षेत्र दौरा, आवेदकों का एक तकनीकी-वाणिज्यिक ऑडिट और एक आवधिक निगरानी मूल्यांकन शामिल है, जो सभी हितधारकों को अधिक स्तर का आश्वासन प्रदान करेगा। मानक संचालन प्रक्रिया इसके लिए प्रक्रियाओं को पर्याप्त विस्तार से निर्दिष्ट करता है।

मानक संचालन प्रक्रिया अब परीक्षण एजेंसियों द्वारा जारी की गई है, और यह उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के तहत आवेदकों को उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी उत्पादों (मूल उपकरण विनिर्माता और घटकों दोनों) के अनुमोदन के लिए आवेदन करने की अनुमति देगा।

व्यापार करने में सुगमता:

भारत सरकार ने ईज ऑफ डूइंग बिजनेस यानी व्यवसाय करने में सुगमता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के तहत आवेदन दाखिल करने के लिए आवश्यक न्यूनतम कागजी कार्रवाई के साथ सरल प्रक्रियाओं को विकसित करने पर ध्यान दिया है।

किसी मूल उपकरण विनिर्माता को प्रत्यक्ष आपूर्तिकर्ता को “टियर 1 आपूर्तिकर्ता” कहा जाता है। टीयर 1 आपूर्तिकर्ता को टीयर 2 आपूर्तिकर्ता और इससे आगे के रूप में जाना जाता है। टीयर 3 स्तर तक के आयात के संबंध में सूचना को आवेदकों द्वारा केवल टियर 1 स्तर तक प्रमाणित किया जाना चाहिए। हालांकि, आवेदन दाखिल करने के समय टियर 3 तक कोई दस्तावेज जमा करने की आवश्यकता नहीं होगी। आवेदकों द्वारा प्रस्तुत घोषणाएं योजना के तहत अधिकांश आवश्यकताओं के लिए पर्याप्त होंगी।

यह आवेदकों पर अनुपालन बोझ को कम करेगा और तेजी से आवेदन और योजना के तहत प्रोत्साहन के वितरण को बढ़ावा देगा।

कठिनाइयों को दूर करने की शक्ति:

मानक संचालन प्रक्रिया में शामिल सभी प्रावधानों के अनुपालन को रोकने वाली अप्रत्याशित परिस्थितियों के मामले में, परीक्षण एजेंसियों को मानक संचालन प्रक्रिया के प्रावधानों को आसान बनाने की शक्ति दी गई है। यह मोटर वाहन उद्योग की जटिल आपूर्ति श्रृंखला में उत्पन्न होने वाले मुद्दों के समाधान के लिए एक आसान दृष्टिकोण सक्षम करेगा।

(Source: PIB)

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क्‍या माता-पिता के साथ बच्चे भी करेंगे दोपहिया की सवारी केंद्र से कानून में संशोधन की मांग करेगी केरल सरकार.. - दैनिक जागरण (Dainik Jagran)

AgencyPublish Date: Thu, 27 Apr 2023 05:50 PM (IST)Updated Date: Thu, 27 Apr 2023 05:50 PM (IST)

तिरुवनंतपुरम, पीटीआई। केरल सरकार ने गुरुवार को कहा कि दोपहिया वाहन पर माता-पिता के साथ बच्चे की यात्रा करने की मांग को वह जांच करेगी कि मोटर वाहन अधिनियम में संशोधन के लिए केंद्र सरकार से इसका अनुरोध किया जाए या नहीं। राज्य के परिवहन मंत्री एंटनी राजू (Antony Raju) ने कहा कि सुरक्षित केरल परियोजना के शुभारंभ और इसके तहत 726 आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) कैमरों के संचालन के बाद दोपहिया वाहन पर माता-पिता के साथ यात्रा करने वाले बच्चे के अवैध होने पर चिंता जताई गई है।

राज्य सरकार नहीं थोप रही नया कानून

परिवहन मंत्री एंटनी राजू ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि राज्य में बड़ी संख्या में दोपहिया वाहन को उपयोग किया जा रहा है, ऐसे में मांग की जा रही है कि राज्य में विशेष परिस्थितियों में माता-पिता के साथ बच्चों की यात्रा करने की अनुमति दे दिया जाए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार नई परियोजना के तहत लोगों के ऊपर किसी भी तरह का नया कानून नहीं थोप रही है। सरकार यहां पर मौजूदा मोटर वाहन कानूनों के उचित कार्यान्वयन को सुनिश्चित कर रही है। उन्होंने कहा कि इस कानून में संशोधन होने के बाद भी राज्य सरकार किसी भी तरह की कोई छूट दे सकती है।

10 मई को किया जाएगा विचार

उन्होंने कहा कि 10 मई को होने वाली बैठक में इस मामले पर विचार किया जाएगा और इस पर निर्णय लिया जाएगा कि क्या किया जाना चाहिए। मंत्री ने कहा कि राज्य में जब से एआई कैमरे चालू हो गए हैं तब से यातायात उल्लंघन में कमी आई है। उन्होंने आगे कहा कि वर्तमान में उल्लंघन करने वालों को केवल विभिन्न यातायात नियमों और विनियमों के बारे में मोटर चालकों के बीच जागरूकता विकसित करने के लिए चेतावनी दी जा रही है।

मालूम हो कि केरल सरकार ने कहा कि एआई यातायात कैमरे जैसी परियोजना को एक बार लागू करने के बाद, इसे केवल कुछ आरोपों के आधार पर रोका नहीं जा सकता है। एंटनी राजू ने कहा कि प्रदेश की वामपंथी सरकार की सुरक्षित केरल योजना के तहत एआई कैमरों का परीक्षण आठ महीने पहले ही पूरा हो चुका है और इसके संबंध में परिवहन विभाग के एक अधिकारी के खिलाफ सतर्कता जांच पिछले महीने ही शुरू की गई थी।

Edited By: Sonu Gupta

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Thursday, April 27, 2023

मृतक की पत्नी को अनुकंपा नियुक्ति और अनुग्रह राशि का भुगतान उसे मोटर वाहन अधिनियम के तहत मुआवजे से वंचित... - Live Law Hindi

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केंद्र सरकार ने मोटर वाहन क्षेत्र के लिए उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत मानक संचालन प्रक्रिया जारी की - inSamachar

भारी उद्योग मंत्रालय ने नई दिल्ली में परीक्षण एजेंसियों को मोटर वाहन क्षेत्र के प्रोत्साहन के लिए उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) जारी करने की घोषणा की। इसके साथ ही योजना के अंतर्गत आवेदक अब उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी-एएटी उत्पादों (मूल उपकरण निर्माता-ओईएम और घटक दोनों) के परीक्षण और प्रमाणन के लिए अपने आवेदन जमा कर सकते हैं, जो उन्हें प्रोत्साहन से संबद्ध मोटर वाहन योजना के अंतर्गत प्रोत्साहन के लिए योग्यता प्राप्त करने में मदद करेगा।

केंद्रीय भारी उद्योग मंत्री डॉ. महेंद्र नाथ पांडेय ने कहा कि इस कदम के साथ, भारी उद्योग मंत्रालय स्वयं को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की आत्मनिर्भर भारत की परिकल्पना के साथ आगे बढ़ाने की कोशिश कर रहा है, और ये मानक संचालन प्रक्रिया न केवल इस परिकल्पना को प्राप्त करने में मदद करेंगे बल्कि इससे विनिर्माण क्षेत्र में अपनी उपस्थिति मज़बूत करने में भी मदद करेंगे। डॉ. पाण्डेय ने कहा कि इसके साथ, मंत्रालय का लक्ष्य घरेलू विनिर्माण क्षेत्र को बढ़ावा देना और आयात पर निर्भरता कम करना है, जिससे भारतीयों के लिए अधिक रोजगार के अवसर पैदा हो सकें। उन्होंने कहा कि सरकार देश में कौशल विकास और उद्यमिता को प्रोत्साहन देने के लिए प्रतिबद्ध है और यह पहल उस लक्ष्य को हासिल करने में मदद करेगी। उन्होंने यह भी कहा कि यह देश के समग्र आर्थिक विकास में योगदान देगा। डॉ. पाण्डेय ने कहा कि इस योजना से महत्वपूर्ण निवेश आकर्षित करने और भारत को मोटर वाहन विनिर्माण के लिए एक वैश्विक केंद्र बनने में मदद मिलने की आशा है।

भारी उद्योग मंत्रालय (एमएचआई) ने 23 सितंबर, 2021 को भारत में मोटर वाहन क्षेत्र और मोटर वाहन उपकरण उद्योग के लिए उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना (पीएलआई-ऑटो योजना या योजना) को 25,938 करोड़ रुपये के बजटीय परिव्यय के साथ अधिसूचित किया। उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन -मोटर वाहन योजना उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी (एएटी) उत्पादों के घरेलू विनिर्माण को प्रोत्साहन देने और मोटर वाहन विनिर्माण मूल्य श्रृंखला में निवेश आकर्षित करने के लिए वित्तीय प्रोत्साहन का प्रस्ताव करती है। इस योजना के दो भाग हैं: चैंपियन मूल उपकरण निर्माता, जो बिजली या हाइड्रोजन से चलने वाले वाहन बनाएंगे, और कंपोनेंट चैंपियंस, जो उच्च-मूल्य और उच्च-तकनीकी घटक बनाएंगे।

उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना के उद्देश्य:

मोटर वाहन और मोटर वाहन उपकरण के लिए उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना का मुख्य उद्देश्य उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी उत्पादों के घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने और मोटर वाहन विनिर्माण मूल्य श्रंखला में निवेश आकर्षित करने के लिए वित्तीय प्रोत्साहन प्रदान करना है।

इसके मुख्य उद्देश्यों में लागत संबंधी अक्षमताओं पर नियंत्रण प्राप्त करना, बड़े पैमाने की अर्थव्यवस्थाओं का निर्माण करना और उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी उत्पादों के क्षेत्रों में एक मजबूत आपूर्ति श्रृंखला का निर्माण करना शामिल है।

इस योजना का उद्देश्य देश में रोजगार के अवसर पैदा करना भी है।

इसका उद्देश्य मोटर वाहन उद्योग की मूल्य श्रृंखला को उच्च-मूल्य-वर्धित उत्पादों में स्थानांतरित करने की सुविधा प्रदान करना है।

भारी उद्योग मंत्रालय ने 9 नवंबर, 2021 को 19 उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी वाहनों और 103 उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी घटकों की श्रेणियों को अधिसूचित किया, जिन्हें इस योजना के अंतर्गत कवर किया जाएगा। ये घटक या तो उन्नत या नवीनतम-प्रौद्योगिकी मोटर वाहन घटक हैं, जिनके लिए आपूर्ति श्रृंखला भारत में मौजूद नहीं है, या दोनों के लिए है। इस प्रकार, इस योजना के साथ, भारत वैश्विक उन्नत प्रौद्योगिकी और मोटर वाहन आपूर्ति श्रृंखलाओं में अपनी हिस्सेदारी बढ़ाने में सक्षम होगा।

घरेलू मूल्यवर्धन (डीवीए):

योजना के दिशानिर्देशों के अनुसार, आवेदकों को योजना के अंतर्गत प्रोत्साहन का दावा करने के लिए 50 प्रतिशत का घरेलू मूल्यवर्धन (डीवीए) प्राप्त करना होगा। मोटर वाहन कंपनियों और घटक निर्माताओं को अपनी आपूर्ति श्रृंखला में घरेलू मूल्यवर्धन की गणना और प्रस्तुत करने और परीक्षण एजेंसियों को इन विवरणों को प्रस्तुत करने की आवश्यकता होती है। यह मेक इन इंडिया अभियान को बढ़ावा देने और उन्नत मोटर वाहन उत्पादों के घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने के लिए किया जा रहा है।

मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) बनाने के लिए समिति:

घरेलू मूल्यवर्धन (डीएवी) की गणना के लिए एक मानक संचालन प्रक्रिया बनाने के लिए पुणे के भारतीय मोटर वाहन अनुसंधान संघ के निदेशक की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया गया था, जिसमें सभी परीक्षण एजेंसियां, ऑटोमोटिव प्रौद्योगिकी के लिए अंतर्राष्ट्रीय केंद्र, मानेसर, राष्ट्रीय मोटर वाहन जांच मार्ग (एनएटीआरएएक्स), पुणे, वैश्विक मोटर वाहन अनुसंधान केंद्र (जीएआरसी) चेन्नई और वित्त सेवा निगम (आईएफ़सीआई) (उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन मोटर वाहन योजना के लिए प्रीमार्केट स्वीकृति (पीएमए) को जोड़ना शामिल हैं। इसके अनुसार, विभिन्न हितधारकों के बीच ज्ञान और विचारों के इस आदान-प्रदान के साथ, समिति ने हितधारकों से प्राप्त सभी सुझावों पर विचार-विमर्श करने के बाद मानक संचालन प्रक्रिया का मसौदा तैयार किया। उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के लिए सभी 85 आवेदकों के साथ परामर्श किया गया। इनमें 18 मूल उपकरण निर्माता और 67 ऑटो घटक विनिर्माण कंपनियां शामिल हैं। इन कंपनियों की सूची संलग्न है।

परामर्श की प्रक्रिया:

हितधारकों के परामर्श और निरंतर चर्चा के माध्यम से, उद्योग ने विभिन्न अभ्यावेदन और सुझाव साझा किए। इसके अलावा, मानक संचालन प्रक्रिया के मसौदे को आवेदक कंपनियों सहित हितधारकों के साथ उनके सुझाव और प्रतिकृया के लिए समय-समय पर साझा किया गया था। इसके अलावा, समिति ने चुनिंदा आधार पर कुछ ओईएम और घटक आवेदकों के साथ एक परीक्षण डीवीए गणना अभ्यास भी किया।

अन्य मंत्रालयों और विभागों द्वारा प्राप्त अनुभव को लागू करके उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजनाओं को लागू करने से क्रॉस-सेक्टरल सीख को अपनाया गया है। इनमें फार्मास्यूटिकल्स विभाग (डीओपी), नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (एमएनआरई), इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (एमईआईटीवाई), व्यय विभाग, फार्मास्यूटिकल्स विभाग, स्वास्थ्य मंत्रालय इस्पात और अन्य संबंधित मंत्रालय शामिल हैं।

विस्तृत हितधारक परामर्श के 3 दौर के बाद, समिति मानक संचालन प्रक्रिया का एक मसौदा लेकर आई है जिसमें एक डेस्क मूल्यांकन और आवेदकों और उनके आपूर्तिकर्ताओं की विनिर्माण सुविधाओं का क्षेत्र दौरा, आवेदकों का एक तकनीकी-वाणिज्यिक ऑडिट और एक आवधिक निगरानी मूल्यांकन शामिल है, जो सभी हितधारकों को अधिक स्तर का आश्वासन प्रदान करेगा। मानक संचालन प्रक्रिया इसके लिए प्रक्रियाओं को पर्याप्त विस्तार से निर्दिष्ट करता है।

मानक संचालन प्रक्रिया अब परीक्षण एजेंसियों द्वारा जारी की गई है, और यह उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के तहत आवेदकों को उन्नत मोटर वाहन प्रौद्योगिकी उत्पादों (मूल उपकरण विनिर्माता और घटकों दोनों) के अनुमोदन के लिए आवेदन करने की अनुमति देगा।

व्यापार करने में सुगमता:

भारत सरकार ने ईज ऑफ डूइंग बिजनेस यानी व्यवसाय करने में सुगमता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से उत्पादन से संबद्ध प्रोत्साहन योजना के तहत आवेदन दाखिल करने के लिए आवश्यक न्यूनतम कागजी कार्रवाई के साथ सरल प्रक्रियाओं को विकसित करने पर ध्यान दिया है।

किसी मूल उपकरण विनिर्माता को प्रत्यक्ष आपूर्तिकर्ता को “टियर 1 आपूर्तिकर्ता” कहा जाता है। टीयर 1 आपूर्तिकर्ता को टीयर 2 आपूर्तिकर्ता और इससे आगे के रूप में जाना जाता है। टीयर 3 स्तर तक के आयात के संबंध में सूचना को आवेदकों द्वारा केवल टियर 1 स्तर तक प्रमाणित किया जाना चाहिए। हालांकि, आवेदन दाखिल करने के समय टियर 3 तक कोई दस्तावेज जमा करने की आवश्यकता नहीं होगी। आवेदकों द्वारा प्रस्तुत घोषणाएं योजना के तहत अधिकांश आवश्यकताओं के लिए पर्याप्त होंगी।

यह आवेदकों पर अनुपालन बोझ को कम करेगा और तेजी से आवेदन और योजना के तहत प्रोत्साहन के वितरण को बढ़ावा देगा।

कठिनाइयों को दूर करने की शक्ति:

मानक संचालन प्रक्रिया में शामिल सभी प्रावधानों के अनुपालन को रोकने वाली अप्रत्याशित परिस्थितियों के मामले में, परीक्षण एजेंसियों को मानक संचालन प्रक्रिया के प्रावधानों को आसान बनाने की शक्ति दी गई है। यह मोटर वाहन उद्योग की जटिल आपूर्ति श्रृंखला में उत्पन्न होने वाले मुद्दों के समाधान के लिए एक आसान दृष्टिकोण सक्षम करेगा।

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एमजी मोटर इंडिया ने बुधवार को बाजार में एक नया इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) पेश किया - Janta Se Rishta

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Wednesday, April 26, 2023

मोटर वाहन चेकिंग अभियान: 49 वाहन चालकों से वसूला 16600 रुपए का जुर्माना - Dainik Bhaskar

बालोद18 घंटे पहले

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डौंडी व राजहरा थाना क्षेत्र में विशेष मोटर वाहन चेकिंग अभियान चलाया गया। 49 लापरवाह वाहन चालक के विरूद्व कार्रवाई कर 16 हजार 600 रुपए जुर्माना वसूला गया। वहीं यातायात नियमों का पालन करने वाले चालकों को गुलाब फूल देकर सम्मानित किया गया। 21 वाहन के कागजात पेश नहीं करने, 10 बिना नंबर प्लेट, 7 तीन सवारी, 3 बिना लाइसेंस, 6 यातायात नियमों का पालन नहीं करना, 1 सीट बेल्ट एवं 1 प्रकरण प्रदूषण प्रमाण पत्र के बिना वाहन चलाने वालों पर कार्रवाई की गई।

पुलिस नागरिकों से अपील की है कि वाहन चेकिंग में सहयोग करें। यातायात नियमों का पालन करें। शराब पीकर वाहन न चलाएं। नाबालिग बच्चों को वाहन चलाने न दें।

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मोटर वाहन चेकिंग अभियान: 49 वाहन चालकों से वसूला 16600 रुपए का जुर्माना - Dainik Bhaskar
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Tuesday, April 25, 2023

मोटर वाहन चेकिंग अभियान: 49 वाहन चालकों से वसूला 16600 रुपए का जुर्माना - मनी भास्कर

बालोद3 घंटे पहले

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डौंडी व राजहरा थाना क्षेत्र में विशेष मोटर वाहन चेकिंग अभियान चलाया गया। 49 लापरवाह वाहन चालक के विरूद्व कार्रवाई कर 16 हजार 600 रुपए जुर्माना वसूला गया। वहीं यातायात नियमों का पालन करने वाले चालकों को गुलाब फूल देकर सम्मानित किया गया। 21 वाहन के कागजात पेश नहीं करने, 10 बिना नंबर प्लेट, 7 तीन सवारी, 3 बिना लाइसेंस, 6 यातायात नियमों का पालन नहीं करना, 1 सीट बेल्ट एवं 1 प्रकरण प्रदूषण प्रमाण पत्र के बिना वाहन चलाने वालों पर कार्रवाई की गई।

पुलिस नागरिकों से अपील की है कि वाहन चेकिंग में सहयोग करें। यातायात नियमों का पालन करें। शराब पीकर वाहन न चलाएं। नाबालिग बच्चों को वाहन चलाने न दें।

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मोटर वाहन चेकिंग अभियान: 49 वाहन चालकों से वसूला 16600 रुपए का जुर्माना - मनी भास्कर
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Monday, April 24, 2023

सावधान: 30 जून तक लगवा लें हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट, वरना एक जुलाई से ... - अमर उजाला

Date of installation of high security number plate in Punjab till june 30

फाइल फोटो।

विस्तार

पंजाब के लोगों को अब दो महीने में अपने वाहनों पर हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगवाना होगा। नहीं तो एक जुलाई से मोटा चालान कटवाना पड़ेगा। पंजाब परिवहन विभाग और पुलिस ने इसकी तैयारी कर ली है। लोगों को 30 जून तक नंबर प्लेट लगवाने की हिदायत दी गई है। इसके बाद मोटर वाहन एक्ट, 1988 की धारा 177 के तहत कार्रवाई होगी। इसमें पहली बार पकड़े जाने पर दो हजार रुपये जुर्माना होगा जबकि इसके बाद पकड़े जाने पर तीन हजार रुपये के हिसाब से जुर्माना वसूला जाएगा। वहीं, वाहनों को ब्लैक लिस्ट में डाल दिया जाएगा।

विभाग ने लोगों को आखिरी चेतावनी दी है कि तय समय में अपने वाहनों पर हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगवा लें। पंजाब में वाहनों पर हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगाने का काम कई साल से चल रहा है लेकिन इस बीच नंबर प्लेट के फीका पड़ने का मामला सामने आया था। साथ ही यह मामला हाईकोर्ट पहुंचा था लेकिन कुछ नियमों के साथ कंपनी को तय समय में काम पूरा करने की हिदायत दी गई थी। हालांकि बीच में कोरोना महामारी ने दस्तक दे थी। ऐसे में यह काम अधर में रह गया था। कई बार विभाग हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगवाने की तिथि बढ़ा चुका है। इसके बाद अब इस दिशा में कार्रवाई की गई है। विभाग ने इस संबंध में एक पत्र पुलिस को भेज दिया है। साथ ही सभी जिलों के आरटीओ को इस बार सख्त कार्रवाई करने की हिदायत दी है।

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सावधान: 30 जून तक लगवा लें हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट, वरना एक जुलाई से ... - अमर उजाला
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सावधान: 30 जून तक लगवा लें हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट, वरना एक जुलाई से भरना होगा मोटा चालान - अमर उजाला

Date of installation of high security number plate in Punjab till june 30

फाइल फोटो।

विस्तार

पंजाब के लोगों को अब दो महीने में अपने वाहनों पर हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगवाना होगा। नहीं तो एक जुलाई से मोटा चालान कटवाना पड़ेगा। पंजाब परिवहन विभाग और पुलिस ने इसकी तैयारी कर ली है। लोगों को 30 जून तक नंबर प्लेट लगवाने की हिदायत दी गई है। इसके बाद मोटर वाहन एक्ट, 1988 की धारा 177 के तहत कार्रवाई होगी। इसमें पहली बार पकड़े जाने पर दो हजार रुपये जुर्माना होगा जबकि इसके बाद पकड़े जाने पर तीन हजार रुपये के हिसाब से जुर्माना वसूला जाएगा। वहीं, वाहनों को ब्लैक लिस्ट में डाल दिया जाएगा।

विभाग ने लोगों को आखिरी चेतावनी दी है कि तय समय में अपने वाहनों पर हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगवा लें। पंजाब में वाहनों पर हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगाने का काम कई साल से चल रहा है लेकिन इस बीच नंबर प्लेट के फीका पड़ने का मामला सामने आया था। साथ ही यह मामला हाईकोर्ट पहुंचा था लेकिन कुछ नियमों के साथ कंपनी को तय समय में काम पूरा करने की हिदायत दी गई थी। हालांकि बीच में कोरोना महामारी ने दस्तक दे थी। ऐसे में यह काम अधर में रह गया था। कई बार विभाग हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट लगवाने की तिथि बढ़ा चुका है। इसके बाद अब इस दिशा में कार्रवाई की गई है। विभाग ने इस संबंध में एक पत्र पुलिस को भेज दिया है। साथ ही सभी जिलों के आरटीओ को इस बार सख्त कार्रवाई करने की हिदायत दी है।

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सावधान: 30 जून तक लगवा लें हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट, वरना एक जुलाई से भरना होगा मोटा चालान - अमर उजाला
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Saturday, April 22, 2023

पुलिस व मोटर वाहन विभाग ने संयुक्त रूप से किया विशेष निरीक्षण; 53 मॉडिफाइड दोपहिया वाहन सीज किए गए - Janta Se Rishta

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पुलिस व मोटर वाहन विभाग ने संयुक्त रूप से किया विशेष निरीक्षण; 53 मॉडिफाइड दोपहिया वाहन सीज किए गए - Janta Se Rishta
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ऐप-संचालित उल्लंघन बढ़ रहे हैं, केरल मोटर वाहन विभाग डोजर्स को पकड़ने के लिए सतर्कता बढ़ा रहा है - Janta Se Rishta

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Friday, April 21, 2023

केरल मोटर वाहन विभाग ने ड्राइविंग लाइसेंस को स्मार्ट कार्ड के रूप में जारी करना शुरू किया - Janta Se Rishta

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मोटर वाहन विभाग ने ड्राइविंग लाइसेंस को स्मार्ट कार्ड के रूप में जारी करना शुरू - Janta Se Rishta

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Monday, April 17, 2023

मोटर दुर्घटना में माता-पिता की मृत्यु पर वयस्‍क, कमाऊ बच्चे भी 'आश्रितता के नुकसान' के हकदार: जम्मू एंड... - Live Law Hindi

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Sunday, April 16, 2023

पंजाब में हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट पर सरकार सख्त: 30 जून तक वाहनों पर लगवानी जरूरी; उसके बाद चालान काटे जा... - Dainik Bhaskar

अमृतसरएक घंटा पहले

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पंजाब सरकार ने हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट्स (HSRP) में दी गई छूट को आगे बढ़ाने से इनकार कर दिया है। पंजाब सरकार ने अंतिम सूचना जारी करते हुए कहा है कि 30 जून के बाद HSRP न लगे वाहनों के चालान काटे जाएंगे या उन्हें ब्लैक लिस्ट में डाल दिया जाएगा। इसके अलावा, ऐसे वाहनों पर कार्रवाई के लिए पंजाब पुलिस द्वारा विशेष अभियान चलाया जाएगा।

गौरतलब है कि केंद्रीय मोटर वाहन नियम 1989 के नियम 50 के अनुसार सभी श्रेणी के वाहनों के लिए HSRP लगाना अनिवार्य है। इस नियम को 1 अप्रैल 2019 से अनिवार्य कर दिया गया था। लेकिन बार-बार पंजाब सरकार इसमें समय की छूट दे रही थी। लेकिन अब सरकार ने तारीख आगे बढ़ाने से साफ मना कर दिया है और 30 जून 2023 तक HSRP लगाना जरूरी कर दिया है। HSRP को हर पुराने व नए वाहनों पर लगाना जरूरी होगा।

30 जून से पहले HSRP नंबर प्लेट्स लगवाना अनिवार्य।

30 जून से पहले HSRP नंबर प्लेट्स लगवाना अनिवार्य।

3 हजार तक हो सकता है जुर्माना पंजाब सरकार की तरफ से जारी अंतिम सूचना के अनुसार HSRP न लगवाने वाले वाहनों को पहले 2 हजार रुपए तक चालान भरना पड़ सकता है। अगर यही गलती दोबारा से होती है तो 3 हजार रुपए का चालान भरना होगा।

पंजाब ट्रांसपोर्ट की वेबसाइट पर करें संपर्क
पंजाब में पंजीकृत वाहनों की सूची (वाहन 4.0) HSRP फिटमेंट के लिए लंबित वेबसाइट http://www.punjabtransport.org पर उपलब्ध है। 1 अप्रैल 2019 से पहले बिके वाहनों को http://www.punjabhsrp.in पर अप्लाई करना होगा। इसके बाद अफिक्स करवाने की तिथि, समय और सेंटर चुनना होगा।

इस वेबसाइट पर होम फिटमेंट भी उपलब्ध है, लेकिन उसके लिए अतिरिक्त खर्च देना होगा। वहीं, 1 अप्रैल 2019 के बाद निर्मित वाहनों को मोटर व्हीकल डीलर से संपर्क करना होगा।

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Saturday, April 15, 2023

जम्मू-कश्मीर: सड़क हादसे के घायल को 68 लाख मुआवजा,अदालत ने कहा- एक्सीडेंट रोकने के लिए प्रशासन कदम उठाए - अमर उजाला

Jammu Kashmir: 68 lakh compensation to injured road accident, court said – Administration should stop acciden

अदालत का फैसला - फोटो : सोशल मीडिया

विस्तार

बारामुला के मोटर दुर्घटना दावा न्यायाधिकरण ने कहा है कि सड़क दुर्घटनाओं और ट्रैफिक जाम मामले में वृद्धि ने जीवन के अधिकार के विशेषाधिकार को छीन लिया है। पीठासीन अधिकारी एमएसीटी (प्रमुख जिला न्यायाधीश) मोहम्मद यूसुफ वानी ने भी कहा कि समय आ गया है, जब जम्मू और कश्मीर सहित केंद्र और स्थानीय सरकारें यातायात को सीमित करने सहित यातायात के प्रबंधन के लिए कुछ नीति और नियमों के साथ आगे आने के बारे में सोचें।

अदालत ने यह बातें 11 अक्टूबर 2015 को हुई दुर्घटना के स्थायी विकलांग अल्ताफ अहमद निवासी सोपोर को मुआवजे के रूप में 68,12,000 का चेक सौंपते हुए कहीं। पीड़ित बारामुला जिले के रंगी खोई सोपोर के अल्ताफ अहमद चोपन के पक्ष में मुआवजे के रूप में 68,12,000 रुपये देने की बात कहते हुए यह टिप्पणी की। 

अदालत ने कहा कि शायद ही कोई दिन ऐसा जाता है जब हम सड़क हादसों के बारे में नहीं सुनते हैं। अदालत ने कहा, वाहनों के अनियंत्रित तरीके से आवागमन दुर्घटनाओं का मुख्य कारण है। अदालत ने कहा कि अगर स्थिति अनियंत्रित हो जाती है, तो लोग मोटर वाहनों के बारे में सोचने की बजाय पैदल चलना पसंद करेंगे।

अदालत ने कहा, बिना वैध और प्रभावी डी/एल (ड्राइविंग लाइसेंस) के किशोर और अन्य व्यक्ति ड्राइविंग कर रहे हैं। अनधिकृत व्यक्तियों को ड्राइविंग से दूर रखकर सड़क हादसों को कम किया जा सकता है। समय आ गया है केंद्र और हमारे यूटी सहित अन्य राज्य सरकारें ट्रैफिक प्रबंधन और नियमन के लिए कुछ नीति-नियमों के साथ आगे आने के बारे में सोचें।


इसमें एक परिवार द्वारा वाहनों की खरीद की सीमा भी शामिल है, क्याेंकि बड़ी संख्या में वाहन एक ही परिवार के पास हैं। अदालत ने इस बात को भी आश्चर्यजनक बताया कि चूक और भूलों से उत्पन्न स्थिति से बेपरवाह बिना बीमा वाले वाहन सड़कों पर दौड़ रहे हैं।

एक मोटर वाहन का मालिक कुछ हज़ार रुपये की प्रीमियम राशि के भुगतान के लिए अपने वाहन का बीमा करने में लापरवाही बरतता है। सड़क दुर्घटना की स्थिति में लाखों रुपये के मुआवजे के भुगतान के लिए जवाबदेह होने का जोखिम उठाता है।

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जम्मू-कश्मीर: सड़क हादसे के घायल को 68 लाख मुआवजा,अदालत ने कहा- एक्सीडेंट रोकने के लिए प्रशासन कदम उठाए - अमर उजाला
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Driving License: ड्राइविंग लाइसेंस में बदलना है अपना एड्रेस, जानें ऑनलाइन प्रोसेस | Hari Bhoomi - हरिभूमि

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Friday, April 14, 2023

हैदराबाद में अवैध ड्राइविंग स्कूल मशरूम के रूप में आरटीए ने आंखें मूंद लीं - Janta Se Rishta

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Thursday, April 13, 2023

Volkswagen लेकर आने वाली है दमदार इलेक्ट्रिक मोटर जानें क्या कंपनी का लक्ष्य.. - दैनिक जागरण (Dainik Jagran)

Ayushi ChaturvediPublish Date: Thu, 13 Apr 2023 01:53 PM (IST)Updated Date: Thu, 13 Apr 2023 01:53 PM (IST)

नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। इलेक्ट्रिक वाहन का चलन दिन पर दिन काफी तेजी से बढ़ते जा रहा है। सभी वाहन निर्माता कंपनियां एक-एक करके इलेक्ट्रिक कारों  को लॉन्च कर रही है और कुछ तो उनपर काम भी कर रही है। सबसे बड़ी वाहन निर्माता कंपनी में से एक Volkswagen का लक्ष्य वैश्विक इलेक्ट्रिक कार बाजार में शीर्ष स्थान हासिल करना है, जो वर्तमान में टेस्ला के पास है।

वोक्सवैगन Passat सेडान का इलेक्ट्रिक वेरिएंट

ऐसा करने के लिए  वोक्सवैगन इलेक्ट्रिक वाहन विकास में अरबों डॉलर डाल रहा है। इसका नया उदाहरण ये है कि ये एक नई इलेक्ट्रिक मोटर के रूप में आता है, जो 282 hp की पावर जनरेट करने में सक्षम है। यह इलेक्ट्रिक पावर मिल वोक्सवैगन ID.7 EV को पावर दे सकती है, जो कि वोक्सवैगन Passat सेडान का इलेक्ट्रिक वेरिएंट है जो 17 अप्रैल से शुरु होने वाला है।

Volkswagen नई जनरेटर इलेक्ट्रिक मोटर

इसपर कंपनी दावा करती है कि नई जनरेटर इलेक्ट्रिक मोटर वाहन के गियर पर बेस्ड 282 एचपी पीक पावर और 550 एनएम अधिकतम टॉर्क जनरेट करता है।  इलेक्ट्रिक मोटर को उच्च प्रदर्शन और बेहतर दक्षता प्रदान करने के लिए डिजाइन और विकसित किया गया है। फॉक्सवैगन ने यह भी कहा है कि इस इलेक्ट्रिक मोटर को इस साल की चौथी तिमाही में पेश किया जाएगा। कंपनी का मानना है कि मोटर को दक्षता में सुधार के लिए डिजाइन किया गया था।

इलेक्ट्रिक मोटर वाहन 

कंपनी का यह भी कहना है कि यह पावर मिल थर्मल प्रबंधन प्रणाली सहित कई घटकों के साथ आएगा। इसमें एक शीतलन प्रणाली है जो विद्युत चालित तेल पंप पर निर्भर करता है। इसके बजाय, गर्म तेल को ईवी के कूलेंट सर्किट द्वारा ठंडा किया जाता है, जो ड्राइवर को ऑपरेटिंग तापमान पर रखा है। इसमें तापमान को नियंत्रित करने के लिए स्टेटर के बाहर एकीकृत हीट सिंक भी है।

Edited By: Ayushi Chaturvedi

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Wednesday, April 12, 2023

Jhajjar-Bahadurgarh News: यातायात पुलिस खूब लगा रही दम, फिर भी नहीं सुधर रहे हम - अमर उजाला

बहादुरगढ़। लोगों को यातायात के प्रति सजग करने के लिए यातायात पुलिस तमाम कोशिश कर रही है। स्कूलों में गोष्ठियां कराई जा रही है। जगह जगह शिविर लगाए जा रहे हैं लेकिन इसके बाद भी लोग नहीं सुधर रहे। अपने जीवन की परवाह किए बिना गलत दिशा में वाहन दौड़ा रहे हैं। स्वीकृत से अधिक भार लेकर वाहन चल रहे हैं। जिससे दूसरों की जान भी जोखिम में है। इसका खुलसा जिला पुलिस द्वारा राष्ट्रीय राजमार्ग पर चलाए गए अभियान में हुआ। इसमें चेकिंग के दौरान राजमार्ग पर लेन के नियमों का उल्लंघन करने वाले 299 भारी और अन्य वाहनों के चालान किए गए। गलत दिशा में वाहन चलाने पर 95 वाहनों के चालान किए गए।
यातायात थाना बहादुरगढ़ के प्रभारी निरीक्षक दिनेश कुमार ने बताया कि अभियान के दौरान वाहन चालकों को भारी वाहनों के लिए निर्धारित लेन में चलने व लाइन चेंज और सड़क सुरक्षा के अन्य नियमों बारे जागरूक किया गया। नियमों की अवहेलना करने वाले वाहन चालकों के खिलाफ नियमानुसार कार्यवाही करने बारे पुलिस अधिकारियों व कर्मचारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिए गए। भारी वाहनों को अपनी निर्धारित बाईं लेन में चलने, गलत दिशा में वाहन ना चलाने व निर्धारित गति सीमा के नियमों का पालन करने बारे जागरूक किया गया। उन्होंने बताया कि पुलिस की विभिन्न टीमों द्वारा लेन ड्राइविंग एवं रॉन्ग साइड ड्राइविंग के नियमों का उल्लंघन करते पाए जाने पर अनेक भारी वाहनों के चालान किए गए। पुलिस की विभिन्न टीमों द्वारा जिला भर में मुख्य मार्गों पर निर्धारित किए गए अलग-अलग स्थानों पर चेकिंग के दौरान 2416 वाहनों की जांच करते हुए नियमों का उल्लंघन करते पाए जाने पर 299 वाहनों के चालान किए गए। जिनमें ओवरस्पीड व ब्लैक फिल्म के चालान भी शामिल हैं।
देवेंद्र ने बताया कि पुलिस की विभिन्न टीमों ने अभियान के दौरान सड़क सुरक्षा एवं यातायात नियमों की अवहेलना करने, लेन ड्राइविंग और गलत दिशा में ड्राइविंग करने वाले वाहन चालकों के खिलाफ चालान की कार्रवाई की गई। गलत दिशा में ड्राइविंग करने वाले वाहन चालकों के खिलाफ कार्रवाई करते हुए मोटर वाहन अधिनियम के तहत 95 वाहनों के चालान किए गए। इसी प्रकार से लेन ड्राइविंग से संबंधित 173 वाहन चालकों के चालान मोटर वाहन अधिनियम के तहत किए गए। सडक़ सुरक्षा व सुरक्षित सफर के लिए झज्जर पुलिस द्वारा चलाया जा रहा अभियान आगे भी जारी रहेगा।

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ओडिशा का पहला व्हीकल स्क्रैपिंग सेंटर भुवनेश्वर के पास तैयार - Janta Se Rishta

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Tuesday, April 11, 2023

राजस्‍थान में यातायात नियमों के उल्लंघन पर पुलिसकर्मियों को भरना होगा दोगुना जुर्माना - ThePrint Hindi

जयपुर, 11 अप्रैल (भाषा) राजस्‍थान में यातायात नियमों का उल्लंघन करने वाले पुलिसकर्मियों को अब सामान्‍य से दोगुना जुर्माना देना होगा। साथ ही ऐसे पुलिसकर्मियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई भी की जाएगी। पुलिस के एक प्रवक्‍ता ने मंगलवार को यह जानकारी दी।

प्रवक्ता के अनुसार पुलिस महानिदेशक उमेश मिश्रा के निर्देश पर अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (यातायात) वी. के. सिंह ने इस बारे में पुलिस अधिकारियों को निर्देश जारी किए हैं।

इसके तहत राज्‍य अब यातायात नियमों का उल्लंघन करने पर पुलिसकर्मियों को सामान्य से दोगुना जुर्माना भरना होगा।

सिंह ने बताया कि हेलमेट नहीं लगाने एवं दुपहिया वाहन पर दो से अधिक सवारी बैठाने, चौपहिया वाहन चलाते समय सीट बेल्ट नहीं लगाने, लाल बत्ती पार करने, शराब पीकर वाहन चलाने और अन्य यातायात नियमों का उल्लंघन करने वाले पुलिसकर्मियों से मोटर वाहन अधिनियम के तहत निर्धारित जुर्माने से दोगुना जुर्माना वसूलने के साथ ही विभागीय कार्रवाई भी सुनिश्चित की जाएगी।

भाषा पृथ्‍वी सुरभि

सुरभि

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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पलामू: वाहन जांच अभियान तेज, सचिवालय घेराव के लिए रांची आ रहे भाजपा ... - News Wing Hindi News Paper

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पलामू: वाहन जांच अभियान तेज, सचिवालय घेराव के लिए रांची आ रहे भाजपा ...  News Wing Hindi News Paper
पलामू: वाहन जांच अभियान तेज, सचिवालय घेराव के लिए रांची आ रहे भाजपा ... - News Wing Hindi News Paper
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Monday, April 10, 2023

चेकिंग कार्यवाई: यातायात नियम तोड़ने पर 121 के चालान किए - Dainik Bhaskar

यमुनानगर8 घंटे पहले

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पुलिस प्रवक्ता ने बताया कि यातायात नियमों को तोड़ने पर पुलिस ने 121 भारी वाहनों के चालान किए। मोटर वाहन अधिनियम-2017 के तहत निर्धारित गति सीमा व बांई लेन में न चलकर नियमों का उल्लंघना करने पर रविवार को लेन चेंज के 59 और रॉन्ग साइड ड्राइविंग के 82 चालान किए।

एसएचओ ट्रैफिक रामपाल ने बताया कि हाइवे पर ओवर स्पीड व गलत लेन में चलने वाले वाहन चालकों के चालान किए गए। उन्होंने कहा कि मोटर वाहन अधिनियम के तहत भारी वाहनों के लिए बांई लेन में चलना निर्धारित है, जिससे सड़क सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।

यदि कोई भी वाहन चालक निर्धारित गति सीमा व बांई लेन में न चलकर नियम की उल्लघंना करता है तो उसका चालान किया जा रहा है।

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New Traffic Rule: अब शर्ट पहनकर बाइक चलाने पर भी कटेगा Challan ... - thebegusarai.in

New Traffic Rule : भारत में ड्राइविंग के नियम काफी सख्त हैं। वाहन चलाते समय सभी नियमों का पालन करना बहुत जरूरी है। यदि आप सुरक्षित यात्रा करना चाहते हैं, तो आपको ‘नियमों का पालन करें, दुर्घटनाओं से बचें’ कहावत की तरह गाड़ी चलानी चाहिए। आपको अपने साथ-साथ दूसरों के जीवन के बारे में भी सोचना चाहिए। 

लेकिन, क्या आप ट्रैफिक से जुड़े सभी नियमों से अच्छी तरह वाकिफ हैं? दरअसल, हर व्यक्ति ऐसा नहीं कर पाएगा क्योंकि इसके कई नियम हैं और कई बार लोग गलत सूचनाओं के शिकार हो जाते हैं। इसलिए लोगों को हर नई जानकारी की जांच करनी चाहिए ताकि उन्हें उस जानकारी की प्रामाणिकता का पता चल सके। क्योंकि लोगों के पास ट्रैफिक नियमों को लेकर काफी गलत जानकारी है।

हाफ शर्ट, टी शर्ट पहनकर बाइक चलाई तो होगी दंडात्मक कार्रवाई? : कुछ लोग सोचते हैं कि आधी बाजू की कमीज पहनकर बाइक चलाना चालान काटने का नियम है, लेकिन यह सच नहीं है। आधी बाजू की कमीज पहनने वाले मोटरसाइकिल चालकों को प्रोत्साहित करने के लिए मोटर वाहन अधिनियम में कोई प्रावधान नहीं किया गया है। केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ऑफर से पहले ही इस संबंध में सफाई दे चुके हैं। 2019 में नितिन गडकरी के कार्यालय की ओर से एक ट्वीट किया गया था जिसमें लिखा गया था कि नया मोटर वाहन अधिनियम में आधी बाजू की कमीज पहनकर गाड़ी चलाने का प्रावधान नहीं है।

‘इन’ नियमों का पालन करना चाहिए : सड़क पर मोटरसाइकिल चलाते समय यातायात नियमों का पालन करें। कार चलाते समय सीट बेल्ट लगाएं, बाइक चलाते समय हेलमेट लगाएं। इससे आपकी सुरक्षा और मजबूत होगी। गलत लेन और गलत दिशा में वाहन न चलायें, लाल बत्ती का पालन करें।

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Thursday, April 6, 2023

दिल्ली: पुलिस की हिरासत से वाहन चोरी का आरोपी फरार - ThePrint Hindi

नयी दिल्ली, पांच अप्रैल (भाषा) उत्तर पश्चिमी दिल्ली के शाहबाद डेयरी इलाके में मेडिकल जांच के लिए ले जाते समय एक मोटर वाहन चोर पुलिस की हिरासत से फरार हो गया। अधिकारियों ने बुधवार को यह जानकारी दी।

पुलिस उपायुक्त (बाहरी उत्तर) रवि कुमार सिंह ने बताया कि पुलिस को सोमवार को अंतरराज्यीय चोर गिरोह की सूचना मिली थी, जिसके आधार पर राजस्थान निवासी लखविंदर सिंह और उत्तर प्रदेश निवासी विभू को अलीपुर इलाके से गिरफ्तार किया गया था।

उन्होंने बताया कि आरोपियों के कब्जे से दो लग्जरी कार- हुंडई अल्कजार और टाटा हैरियर भी बरामद हुई थीं।

अधिकारी के मुताबिक, लखविंदर मोटर वाहन चोरी के 15 मामलों में शामिल रहा है, जबकि विभू एक मामले में शामिल था।

पुलिस सूत्रों ने बताया कि दिल्ली से चोरी की कुल छह कार और पांच दोपहिया वाहन बरामद किए गए। उन्होंने बताया कि दोनों की गिरफ्तारी से दिल्ली और लखनऊ के कुल 11 मामलों को सुलझाया गया। पुलिस उपायुक्त ने बताया कि मंगलवार को उपनिरीक्षक नरेंद्र डबास, हेड कांस्टेबल मुकेश और कांस्टेबल दीपांशु (चालक) की टीम द्वारा मेडिकल जांच के लिए ले जाए जाने के दौरान लखविंदर शाहबाद डेयरी क्षेत्र में पंजाब स्वीट्स सेक्टर-11 के पास से हिरासत से भाग निकला।

उन्होंने बताया कि इस संबंध में लखविंदर के खिलाफ शाहबाद डेयरी थाने में अलग से मामला दर्ज कर उसकी तलाश की जा रही है, साथ ही घटना में शामिल पुलिसकर्मियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की जा रही है।

भाषा साजन नेत्रपाल

नेत्रपाल

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Wednesday, April 5, 2023

एमवी एक्ट की धारा 163ए | दुर्घटना के बारे में कहा जा सकता है कि वह उस वाहन से हुई हुई थी जो एक्सीडेंट के... - Live Law Hindi

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Tuesday, April 4, 2023

Maharashtra: महाराष्ट्र में अब ट्रैफिक नियमों की अनदेखी पड़ सकती है भारी, परिवहन विभाग - ABP न्यूज़

Mumbai News: महाराष्ट्र मोटर वाहन विभाग (एमएमवीडी) ने लापरवाही से और तेज गति से वाहन चलाने जैसे कुछ यातायात अपराधों को गैर जमानती बनाने का प्रस्ताव दिया है. एक वरिष्ठ अधिकारी ने मंगलवार को यह जानकारी दी. राज्य परिवहन आयुक्त विवेक भीमनवार ने कहा कि उन्होंने मोटर वाहन अधिनियम के तहत कुछ ऐसे अपराधों को गैर-जमानती बनाने का प्रस्ताव दिया है जो गंभीर चोटों या मौतों का कारण बनते हैं और उसी के बारे में केंद्र को एक प्रस्ताव भेजा है. उन्होंने कहा कि अभी  मोटर वाहन अधिनियम के तहत सभी अपराध जमानती हैं.

भीमनवार ने कहा कि मूल रूप से, हमने जो प्रस्ताव दिया है वह ये है कि लापरवाही से गाड़ी चलाने जैसे कुछ अपराध, जो घातक या गंभीर चोटों का कारण बनते हैं, ओवरस्पीडिंग और लापरवाह ड्राइविंग को गैर-जमानती बनाया जाना चाहिए.

वरिष्ठ अधिकारी एनजीओ यूनाइटेड वे मुंबई की ओर से तैयार "स्लो डाउन" शीर्षक वाली स्पीड ऑब्जर्वेशन स्टडी रिपोर्ट के लॉन्च के मौके पर बोल रहे थे. भीमनवार ने कहा कि विभाग ने सड़क हादसों को कम करने के लिए कई उपाय किए हैं जैसे लाइसेंसिंग प्रणाली को मजबूत करना, रिफ्लेक्टिंग उपकरणों का उपयोग करना, वाहनों में गति सीमित करने वाले उपकरण लगाना, स्वचालित वाहन फिटनेस परीक्षण करना और प्रभावी इलेक्ट्रॉनिक के साथ-साथ भौतिक प्रवर्तन करना.

चूंकि मुंबई-पुणे एक्सप्रेसवे और अन्य राजमार्गों पर प्रवर्तन अभियान (enforcement drives) शुरू किए गए थे, इससे पिछले साल की इसी अवधि की तुलना में एक्सप्रेसवे पर पिछले तीन महीनों में मृत्यु दर में 36 प्रतिशत की कमी आई थी. इस कार्यक्रम में यूनाइटेड वे मुंबई के उपाध्यक्ष (सामुदायिक प्रभाव) अजय गोवाले ने कहा कि अध्ययन मुंबई पुलिस, रोड सेफ्टी एडवोकेसी क्लब और आईआईटी बॉम्बे के सहयोग से शुरू किया गया था और इसका आयोजन शहर के 20 ब्लैक स्पॉट स्थानों पर किया गया था. संयुक्त पुलिस आयुक्त प्रवीण पडवाल ने कहा कि यातायात पुलिस ने रिपोर्ट में पेश अधिकांश टिप्पणियों को स्वीकार कर लिया है और उन्हें सुधारात्मक कदमों के लिए बृहन्मुंबई नगर निगम और एमएमआरडीए को भी भेजा है.

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